विज्ञापन के बारे में कौन बेहतर सलाहकार हो सकता है?
Agra:आज विज्ञापन करने का तरीका बदल चुका है। समाज में विज्ञापन करने के कई विकल्प मौजूद है आये जानते हैं कैसे करें विज्ञापन –
विज्ञापन क्या है?
किसे कहते हैं?
विज्ञापन कहां पर विज्ञापन देख सकते हैं?
दरअसल विज्ञापन एक ऐसा माध्यम या साधन है जिसके द्वारा हम किसी भी वस्तु, व्यक्ति, व्यापार, पदार्थ आदि का प्रचार कर सकते हैं।
आज के युग में हम अपने आसपास काफी स्थानों पर विज्ञापनों की भरमार देख सकते हैं।विज्ञापन आपको हर जगह मिलेंगे जैसे के टेलीविजन पर, अखबार में, रेडियो पर, सड़क के किनारों पर स्थित दीवारों पर, अपने मोबाइल फोन पर, सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर, बाजारों में, दुकानों पर आदि।
विज्ञापन ज़रूरत क्यों है?
दरअसल विज्ञापन के प्रचार द्वारा ही हमें काफी चीजें पता चलती है और सच मानें तो यह हमारी पूरी दुनिया ही विज्ञापन द्वारा किए गए प्रचारों पर चल रही है। कैसे? आपको यह बात अजीब लगी? खुद ही देख लीजिए, हम अपने आसपास देखें तो हम चारों ओर से विज्ञापनों से ही घिरे हुए हैं, उदाहरण के तौर पर खाने-पीने की जितनी भी वस्तुएं हैं मतलब खाद्य पदार्थ, उन सभी का विज्ञापन हम कहीं ना कहीं देख सकते हैं और वही उनका प्रचार होता है और इन विज्ञापनों के आधार पर ही हम खाद्य वस्तुओं के अलग अलग ब्रांड का आंकलन करते हैं और जो हमें सबसे सही लगता है हम उसी वस्तु को खरीदते हैं, और यह नियम सिर्फ खाद्य पदार्थों पर ही नहीं लागू होता है। जितनी भी खरीद फरोख्त के सामान हैं हम उन्हें तरह तरह के विज्ञापन देखकर और उनका आकलन करके खरीदते हैं, चाहे वह रेफ्रिजरेटर हो या सोफा या वॉशिंग मशीन या टेलीविजन या मोबाइल फोन आदि। विज्ञापनों में दिखाए गए अलग अलग ब्रांड की वस्तुओं का मापदंड देखते हैं, जैसे वस्तु बहुत महंगी ना हो, किफायती हो, अच्छी क्वालिटी की हो, गारंटी तथा वारंटी के साथ हो आदि। ऐसे ही हर चीज के विज्ञापन आपको आज के युग में देखने को मिल जाएंगे चाहे वह जमीन का टुकड़ा हो या बड़े शहरों के फ्लैट या आभूषण या वस्त्र या वाहन आदि। देखा जाए तो विज्ञापन बहुत महत्वपूर्ण चीज है, जी हां बिल्कुल, विज्ञापन हमारे आसपास उपस्थित है तो हमें तमाम वस्तुओं की जानकारी उपलब्ध हो पाती है और उपयोगकर्ता के तौर पर हमारे लिए खरीद फरोख्त करना आसान हो जाता है।
विज्ञापन के प्रकार- हम विज्ञापन लिखित भी देखते हैं और कुछ मौखिक भी होते हैं और जो विज्ञापन टेलीविजन पर आते हैं वह वीडियो के रूप में दिखाए जाते हैं अर्थात कहने का मतलब है कि विज्ञापनों के भी अनेकों रूप एवं प्रकार हो सकते हैं। सड़कों पर हमें पोस्टर या बैनर के रूप में विज्ञापन देखने को मिल जाते हैं। लेकिन सच कहें तो विज्ञापन के अपने फायदे एवं अपने नुकसान हो सकते हैं,बिल्कुल आइए देखते हैं।
विज्ञापन के फायदे – विज्ञापन की मदद से हमें अनेकों वस्तुओं पदार्थ हो आदि के बारे में जानकारी मिलती है। विज्ञापन के प्रचार की मदद से हम वस्तुओं का मापदंड कर सकते हैं। विज्ञापन अहम रूप से खरीदने तथा बेचने में बहुत योगदान देते हैं। विज्ञापन की वजह से हम अनेकों चीजों का आंकलन कर सकते हैं। विज्ञापनों के प्रचार के कारण उपयोगकर्ता का जीवन सरल हो जाता है।
विज्ञापन के नुकसान- विज्ञापनों की अति होने के कारण हम मनुष्य असमंजस के जाल में फंस गए हैं।
बहुत ज्यादा वस्तुओं के उपलब्ध होने के कारण व्यक्ति कशमकश में पड़ जाता है कि वह क्या खरीदे और क्या नहीं?
बहुत बार विज्ञापनों में प्रस्तुत जानकारी नकली निकलती है और इससे ठगी होने की क्षमता से ज्यादा बढ़ जाती है। विज्ञापनों के अति प्रचार के कारण कभी-कभी बहाव में आकर उपयोगकर्ता वह वस्तुएं भी खरीद लेता है जिनकी उसे आवश्यकता भी नहीं होती है मतलब साफ है कि पैसे का खर्च फिजूल हो जाता है।
निष्कर्ष- अगर आज के दौर की बात करें तो आज का मनुष्य विज्ञापनों में इतना फंस चुका है, कि वह खुद एक चलता फिरता विज्ञापन बन चुका है। जी हां, बिल्कुल, आपको इस बात से सहमत होना होगा!
मीडिया और प्रचार के इस युग में हमारा अस्तित्व हमारा चरित्र हमारी प्रवृत्ति सब कुछ विज्ञापनुमा ही हो चुका है। आप अपने आसपास ही देख लीजिए चाहे वह हमारे रिश्ते हो या हमारा निजी जीवन या हमारी नौकरी की जगह या शादियां, सब कुछ विज्ञापन ही बन चुका है।
वह कैसे ? बाहरी तौर पर चकाचौंध से भरपूर, रंगों से भरपूर, चटख मन मोहने वाला और अंदर से निर्जीव खोखला, खाली, भावहीन। मीडिया के अंधाधुंध युग में हमारा जीवन भी बिल्कुल ऐसा ही हो चुका है, दिखावटी आडंबर से भरपूर पर संस्कृति और संस्कार के नाम पर खोखला।
*तो बस मनुष्य को यही समझना होगा कि वह विज्ञापनों के मायाजाल में ज्यादा ना पड़े और अपने अस्तित्व को, आत्मा को शुद्ध रखें, मिलावटी ना बनाएं विज्ञापन बस टीवी रेडियो अखबार में ही दिखे, वही अच्छा है, इन सब का आडंबर हमारी अंतरात्मा में ना उतरे यही सबसे बेहतर होगा।*
क्या है विज्ञापन विज्ञापन एजेंसी?
विज्ञापन एजेंसी या ऐड एजेंसी ऐसी सेवाओं का व्यापार है जिसमें अपने ग्राहकों के लिए विज्ञापन बनाना, उनका नियोजन करना और संभालना (कभी-कभी प्रचार के दूसरे तरीके) भी शामिल हैं। विज्ञापन एजेंसी ग्राहक से पूर्ण रूप से स्वतंत्र होती है और ग्राहक के उत्पादों या सेवाओं को बेचने के लिए अलग नज़रिया प्रदान करती है। एक एजेंसी अपने ग्राहकों के लिए विपणन, ब्रांड बनाने और बिक्री से जुड़े प्रचार की समग्र रणनीतियों को संभाल सकती है। विशिष्ट विज्ञापन एजेंसियों के ग्राहकों में उद्योग जगत औऱ निगम, लाभ निरपेक्ष संगठन और सरकारी एजेंसियां भी शामिल हैं। विज्ञापन के प्रचार के लिए एजेंसियों को किराये पर भी लिया जा सकता है।
*शेष भाग अगले अंक में।
संकलन कर्ता- *वीरेंद्र चौधरी (एडिटर नये समीकरण पत्रिका एवं संचालक – दृष्टि विज्ञापन केंद्र मुगल रॉड कमला नगर आगरा*
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